What is Network security - नेटवर्क की सुरक्षा क्या है
नेटवर्क सिक्योरिटी का मतलब है computer networks को सुरक्षित रखने तथा उसमें मौजूद डाटा या सूचनाओं की सुरक्षा करना। इसका मुख्य उद्देश्य network को unauthorized लोगो द्वारा access किए जाने से और ऐसे हमलों से बचाना जो system को नुकसान पहुंचा सकते हैं या Data की चोरी कर सकते हैं।नेटवर्क की सुरक्षा के लिए संगठनों द्वारा rules बनाए जाते हैं कि कैसे Data को संभालना है और कौन कौन व्यक्ति नेटवर्क का उपयोग कर सकता है।
वे नेटवर्क में होने वाली असमान्य गतिविधियों पर नजर रखते हैं ताकि वे तुरंत किसी भी समस्याओं का समाधान कर सके।
कंपनियों के लिए यह जांच करना महत्वपूर्ण है कि केवल विश्वसनीय व्यक्ति ही महत्वपूर्ण जानकारी को access कर सके। Employees की training भी बहुत महत्वपूर्ण है क्योंकि उनके द्वारा गलतियां होने पर सुरक्षा संबंधित समस्याएं आती है।
जब companies अपने staff को सुरक्षा नियम संबंधित traning देते हैं तब डाटा उल्लंघन संबंधित संभावनाएं कम हो जाती है।
Need of Network security in Hindi - नेटवर्क की सुरक्षा की जरूरत क्यों है
Network security, संवेदनशील सूचनाओं को सुरक्षित रखने और कंप्यूटर नेटवर्क को बचाने के लिए महत्वपूर्ण है। बढ़ते हुए Cyber threats जैसे hacking और viruses के कारण व्यक्तियों और व्यवसायों दोनों के लिए अपने नेटवर्क को सुरक्षित करना महत्वपूर्ण हो गया है।अच्छा Network security unauthorized लोगों को महत्वपूर्ण data को access करने से रोकता है तथा उन हमलों को रोकने में मदद करता हैं जो सेवाओं को बाधित करते हैं तथा व्यक्तिगत या वित्तीय सूचनाओं की चोरी करते हैं।
मजबूत Network security customer और partner के बीच एक विश्वास बनाने में मदद करता है। आज की दुनिया में जहां लोग ज्यादा ऑनलाइन कार्य करते हैं और इंटरनेट पर transactions करते हैं। अतः नए-नए खतरों से बचने और नेटवर्क के सुचारू रूप से चलने के लिए नेटवर्क को ज्यादा सुरक्षित होना जरूरी है।
Definition of network security in hindi
1) "Network security का अर्थ Network और उसके Data को हमलों या unauthorized access से बचाकर रखना।"
2) "Network security, network को सुरक्षित करने के लिए tools और rules का उपयोग करते हैं। यह केवल विश्वसनीय उपयोगकर्ताओं को अनुमति देता है और हानिकारक कार्यों को रोकता है।"
Types of network security in hindi - नेटवर्क सिक्योरिटी के प्रकार
Network security के कई प्रकार है जो एक साथ कार्य करते हैं तथा Data devices और Users को सुरक्षित रखते हैं। ये निम्न प्रकार से हैFirewall Security:
एक Firewall, network और internet के बीच एक wall के समान कार्य करते हैं या हानिकारक traffic को block कर देते हैं और केवल सुरक्षित Data को आने अनुमति देते है।यह हैकर्स तथा हानिकारक सॉफ्टवेयर को नेटवर्क में प्रवेश करने से रोकने में मदद करते हैं। Data को filter करने के द्वारा firewalls आपकी महत्वपूर्ण जानकारी को सुरक्षित रखता है और केवल विश्वसनीय कनेक्शन को अनुमति देकर आपके नेटवर्क को सुरक्षित रखता है।
Firewalls कौन सी ट्रैफिक सुरक्षित है या कौन सी नहीं इसके लिए वह उपयोगकर्ता को rules set करने की अनुमति देते है।
उदाहरण के लिए आप विशिष्ट Websites को या Contents types को block कर सकते हैं। इससे आप हानिकारक Websites से सुरक्षित हो जाते हैं और सुरक्षा की अतिरिक्त परत जोड़ते हैं।
Encryption:
Encryption, data को एक secret code में बदल देते हैं। भले ही हैकर्स आपके data को अपने अधिकार में रखें परंतु वे इसे समझ नहीं सकते।Encryption का उपयोग सामान्यतः online banking और shopping में प्राइवेट सूचनाओं जैसे passwords, credit card numbers आदि को सुरक्षित रखने के लिए होता है।
उदाहरण के लिए जब आप कुछ ऑनलाइन खरीदने हैं तब Encryption आपके payment details को जब वे Internet के माध्यम से भेजे जाते हैं सुरक्षित रखता है जिससे किसी के लिए भी इन सूचनाओं को चुराना कठिन हो जाता है।
Antivirus और Anti-Malware Software:
Antivirus software को, हानिकारक प्रोग्राम जैसे viruses, worms, और अन्य malware से आपके Devices को सुरक्षित रखने के लिए Design किया गया है।इन खतरों को ढूंढने के लिए वह आपके कंप्यूटर या डिवाइस को स्कैन करता है। जब इसे किसी खतरनाक चीज़ का पता चलता है, तो यह उसे हटा देता है ताकि आपकी files और data सुरक्षित हो जाए।
Antivirus software को नियमित रूप से update करना महत्वपूर्ण है ऐसा करने से ये सॉफ्टवेयर नए-नए खतरों के बारे में सीख पाते हैं और उससे निपटने के लिए तैयार होते हैं। इस प्रकार आपके Devices होने वाले हमलों से सुरक्षित बना रहता है।
Intrusion Detection और Prevention Systems (IDPS):
ये Systems network पर असामान्य गतिविधि पर निगरानी रखता है। यदि वे कुछ संदिग्ध देखते हैं, तब वे security team को सतर्क करते हैं। इससे security team को समस्याओं को देखने तथा जल्दी से उस पर प्रतिक्रिया करने में मदद मिलती है।कुछ advanced IDPS इन खतरों से निपटने के लिए खुद ही कार्य करते हैं।
उदाहरण के लिए यदि हैकर्स system से निजी जानकारी को प्राप्त करने का प्रयास करता है तो system उस हमले को रोकने के लिए connection को स्वत: ही बंद कर देता है।
IDPS मुख्यत: दो प्रकार के होते हैं। Intrusion Detection Systems (IDS) और Intrusion Prevention Systems (IPS)
IDS मुख्यत: खतरों को ढूंढने और security team को सतर्क भेजने का कार्य करते हैं। जबकि IPS न केवल खतरों को ढूंढते हैं परंतु उसे तुरंत रोकने के लिए कार्यवाही भी करते हैं।
Virtual Private Network (VPN):
एक VPN, home या public Wi-Fi से कार्य करने वाले लोगों के कनेक्शन को सुरक्षित रखते हैं। यह उनके Data को छुपाते है। इसलिए कोई हैकर्स या जासूसी करने की कोशिश करने वाले लोगों के लिए इस Data को पढ़ना असंभव हो जाता है।यह मददगार है, क्योंकि अक्सर public Wi-Fi बहुत कम सुरक्षित रहता है और कोई भी आसानी से आपकी सूचनाओं को देख सकता है।
एक VPN users के IP address को भी छुपाता है। Businesses भी VPNs का उपयोग करता है ताकि employees सुरक्षित ढंग से company files को कहीं से भी access कर सके।
कई लोग घर में भी VPNs का उपयोग करते हैं ताकि उनका Internet में कार्य करना private हो सके, तथा ऐसे contents को भी देख सके जो उनके देश में उपलब्ध नहीं है और passwords और banking details जैसे चीजों को सुरक्षित कर सके।
Multi-Factor Authentication (MFA):
आपकी log in को ज्यादा सुरक्षित बनाने के लिए MFA अतिरिक्त steps जोड़ता है। केवल एक password का उपयोग करने की बजाय MFA यह confirm करने के लिए कि यह वास्तव में आप ही हैं एक और तरीका पूछता है।यह तरीका code हो सकता है जो आपकी फोन में भेजा जाता है, आपका fingerprint या एक विशेष App से generate किया Code।
उदाहरण के लिए जब log in, करते हैं तो सबसे पहले आप अपना password डालते है, उसके बाद आपके फोन में भेजा गया code को type करते हैं।
यह अतिरिक्त step हैकर्स को आपके account को प्राप्त करना ज्यादा कठिन बना देता है भले ही वे आपका पासवर्ड जानते हैं।
Access Control:
Access control यह नियंत्रित करता है कि एक नेटवर्क के विभिन्न भागों को कौन उपयोग कर सकता है।यह सुनिश्चित करता है कि केवल विश्वसनीय लोग संवेदनशील क्षेत्र में प्रवेश कर सके। इससे महत्वपूर्ण Data को ऐसे लोगों से सुरक्षित किया जाता है जिसे देखने या बदलने की अनुमति नहीं है।
उदाहरण के लिए एक कंपनी के केवल कुछ कर्मचारियों को financial records या customer information देखने की अनुमति है।
Access control यह जांच करने के लिए की आप कौन है passwords, special cards, या fingerprint scans का उपयोग करता है।
Access control, का उपयोग करने के द्वारा व्यवसाय अपने Data को सुरक्षित कर सकता है। Access control network security का एक भाग है जो यह सुनिश्चित करता है कि केवल सही लोग संवेदनशील जानकारी को access कर सके।
Network Segmentation:
Network segmentation, network को छोटे भागों में तोड़ता है जो segments कहलाते हैं।यदि एक क्षेत्र में हमला होता है तो यह हमला उसी एक क्षेत्र को प्रभावित करेगा और आसानी से अन्य भागों में नहीं फैलेगा।
उदाहरण के लिए एक कंपनी के पास Departments जैसे finance, marketing, और IT के लिए विभिन्न segments है। यदि marketing भाग पर हमला किया जाता है तब IT sections सुरक्षित रहेगा क्योंकि वे अलग-अलग है।
इससे hackers के लिए पूरे नेटवर्क को access करना कठिन हो जाएगा।
Network segmentation नेटवर्क को बेहतर कार्य करने में भी मदद करता है।
Network segmentation नेटवर्क को बेहतर कार्य करने में भी मदद करता है।
जब network को विभाजित किया जाता है यह आसानी से traffic को संभाल सकता है। और network को धीमा पड़ने से कम कर सकता है।
Network security principles in hindi
Network security principles महत्वपूर्ण नियम है जो कंप्यूटर नेटवर्क को सुरक्षित रखता है और सूचना को जो उसमे रहता है, को बचाता है।Network security के निम्न मुख्य principles है।
Confidentiality(गोपनीयता):
Confidentiality का मतलब महत्वपूर्ण जानकारी को निजी और सुरक्षित रखना है। केवल कुछ लोग जैसे विश्वसनीय कर्मचारी या विशिष्ट उपयोगकर्ता को ही Data देखने और उपयोग करने की अनुमति होना चाहिए है। यह व्यक्तिगत विवरण, वित्तीय रिकॉर्ड्स और कंपनी के सीक्रेट्स जैसी चीजों के लिए महत्वपूर्ण है।
Encryption जैसे methods जो data को एक secret code, में बदलकर इसे सुरक्षित करता है। passwords और access controls, यह सुनिश्चित करता है कि केवल सही लोग महत्वपूर्ण जानकारी को access कर सके।
Confidentiality बनाए रखने से privacy, Data leak से बचाव, और विश्वास बनाए रखने में मदद मिलती है।
Integrity(अखंडता):
Integrity का मतलब Data सही है और उसे बदला नहीं जा सकता।यह सुनिश्चित करता है कि बिना अनचाहे बदलाव के जानकारी वैसी ही रहे जैसे वह शुरुआत में थी जब उसे बनाया गया था।
यह महत्वपूर्ण है क्योंकि गलत सूचना विभिन्न समस्याओं का कारण बन सकता है। इसके लिए checksums और hash functions का उपयोग किया जाता है जो यह जांच करने में मदद करता है कि Data बदला तो नहीं है।
Integrity सूचना को सही और उन लोगों द्वारा किए गए परिवर्तनों से सुरक्षित रखता है जिनके पास Data को बदलने की अनुमति नहीं है। यह सुनिश्चित करता है कि Data reliable है और जैसा होना चाहिए वैसा ही रहता है।
Authentication(प्रमाणीकरण):
Authentication, Users को किसी Network को access देने से पहले उसकी पहचान को confirm करने का एक तरीका है।
यह सुनिश्चित करने में मदद करता है कि केवल सही लोग नेटवर्क को एक्सेस कर सके। यह केवल विश्वसनीय लोगों को नेटवर्क को access करने की अनुमति देकर नेटवर्क और उसके Data को सुरक्षित बनाए रखने में मदद करता है।
Authentication महत्वपूर्ण जानकारी को सुरक्षित रखते हुए ऐसे लोगों को block करने में मदद करता है जो नेटवर्क में घुसने का प्रयास करते हैं।
Availability (उपलब्धता):
Availability का मतलब यह सुनिश्चित करना कि Network resources और Data, authorized users के लिए हमेशा उपलब्ध है जब कभी उन्हें इसकी जरूरत होती है।networks को उपलब्ध बनाए रखने के लिए इसका नियमित रूप से रखरखाव, backups और monitoring tools का उपयोग किया जाता है। यह tools कोई भी समस्या को ढूंढने और उसे जल्दी से ठीक करने में मदद करते हैं।
Firewalls और load balancers नेटवर्क ट्रेफिक को manage करने में मदद करता है ताकि सिस्टम ज्यादा धीमा या क्रैश न हो।
अतिरिक्त system को setup किया जाता है ताकि यदि एक भाग असफल हो तो अन्य उसका स्थान ले सके। इस तरीके से संगठन यह सुनिश्चित करता है कि लोग किसी भी समय जब उन्हें नेटवर्क की जरूरत है उसका उपयोग कर सके।
Authorization(प्राधिकरण):
Authorization यह नियंत्रित करता है कि नेटवर्क पर एक user क्या देख सकता है या क्या कर सकता है।User के verified होने के बाद Authorization यह निर्णय लेता है की नेटवर्क के कौन से भाग को वे access कर सकते हैं और वे क्या कार्यवाही कर सकतें है।
यह प्रत्येक यूजर को केवल उनकी जरूरत के आधार पर access की अनुमति देते हुए नेटवर्क को सुरक्षित रखता है।
उदाहरण के लिए एक employee कंपनी की basic information को access कर सकता है लेकिन कंपनी के निजी वित्तीय रिकॉर्ड्स को उन्हे access करने की अनुमति नहीं है।
Authorization महत्वपूर्ण जानकारी को सुरक्षित रखने में मदद करता है और यह सुनिश्चित करता है कि हर किसी के पास नेटवर्क पर केवल उन्हीं चीजों को access करने की अनुमति है जिनकी उन्हें आवश्यकता है।
इन principles का अनुसरण करते हुए संगठन अपने networks और data को सुरक्षित करने के लिए एक मजबूत सिक्योरिटी सिस्टम का निर्माण कर सकते हैं।
Advantages of network security in Hindi
नेटवर्क सिक्योरिटी के निम्न लाभ है1) महत्वपूर्ण जानकारी को unauthorized access होने से सुरक्षित रखता है।
2) हमलो जैसे hacking, viruses, और malware को रोकने में मदद करता है।
3) व्यक्तिगत और निजी डेटा को दूसरों के द्वारा देखे जाने से सुरक्षित रखता है।
4)users और clients की Data को सुरक्षित रखते हुए उनके विश्वास को बनाए रखता है।
5) सेवाओं में होने वाले रूकावटो को कम करता है तथा नेटवर्क को सुचारू रूप से चालू रखता है।
6) दुरस्थ कर्मचारियों को नेटवर्क पर सुरक्षित access की अनुमति देना।
7) नेटवर्क बेहतर कार्य करता है तथा Data transfer की गति में बढ़ोतरी होती है।
Disadvantages of network security in Hindi
नेटवर्क सिक्योरिटी के निम्न नुकसान है1) Network security को Setup करना और उसे बनाए रखना महंगा हो सकता है।
2) Security systems, जटिल हो सकते हैं और उसे manage करने के लिए expert की जरूरत होती है।
3) Users को network को access करने के लिए security measures जैसे passwords को use करना कठिन हो सकते हैं।
4) कुछ security tools नेटवर्क को धीमा कर देते हैं।
5) security tools पर ज्यादा निर्भर होने से लोग अन्य safety practices के बारे में लापरवाह हो जाते हैं।
6) Security systems को अच्छे से कार्य करने के लिए नियमित updates की जरूरत होती है जो समय लेता है।
7) Authorized users भी समस्या पैदा कर सकते हैं यदि वे अपनी access का गलत तरीके से उपयोग करते हैं।
8) security setting में गलतियाँ कमज़ोरियाँ पैदा कर सकती हैं।
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