Cloud computing में virtualization एक ऐसी तकनीक है जो फिजिकल रिसोर्सेस, जैसे servers या storage को वर्चुअल रूप में बदल देती है।
वास्तविक हार्डवेयर का उपयोग करने की बजाय हम सॉफ्टवेयर का उपयोग करके virtual machines (VMs) बनाते हैं जो एक अलग कंप्यूटर की तरह कार्य करता है।
प्रत्येक वर्चुअल मशीन के पास उनकी खुद के ऑपरेटिंग सिस्टम होते हैं और वे विभिन्न apps को चला सकते है।
इससे रिसोर्सेस का बेहतर उपयोग होता है और जरुरत के आधार पर उसे बढ़ाया जा सकता है।यह प्रत्येक वर्चुअल मशीन को अन्य से अलग रखता है।
Characteristics of virtualization in cloud computing in Hindi
Cloud computing में virtualization के निम्न विशेषताएं होती है।
1) Resource sharing :
कई users एक ही physical resources जैसे servers और storage को share करते है।
2) Isolation:
प्रत्येक virtual machine, अलग से और सुरक्षित ढंग से कार्य करते हैं। अतः एक मशीन में समस्या होने पर वह अन्य को प्रभावित नहीं करता है।
3) Easy to scale:
आप जरूर के आधार पर आसानी से वर्चुअल रिसोर्सेज को जोड़ या हटा सकते हैं।
4) Efficiency:
hardware और energy का बेहतर उपयोग होता है।
5) Flexible:
आप एक ही मशीन पर विभिन्न सॉफ्टवेयर और ऑपरेटिंग सिस्टम को चला सकते हैं।
6) Cost saving:
physical machines की कम जरूरत होती है। अतः यह पैसे बचता है।
7) Easy backup and recovery:
Virtual machines को आसानी से backup और recover किया जा सकता है।
8) Central management :
सभी virtual machines को एक ही स्थान से मैनेज किया जा सकता है।
Types of Virtualization in cloud computing in Hindi
Cloud computing में virtualization के निम्न प्रकार होते है।
Server Virtualization
Server virtualization, एक फिजिकल सर्वर को कई virtual servers में बांट देता है। प्रत्येक virtual server, एक अलग कंप्यूटर की भांति कार्य करता है और खुद के ऑपरेटिंग सिस्टम और एप्लीकेशंस को चलाता है।
इसमें एक ही server पर, एक समय में कई कार्य किए जाते है जिससे हार्डवेयर का बेहतर उपयोग होता है।
यदि ज्यादा servers की जरूरत है तो जल्दी से virtual server बनाए जा सकते है और इसके लिए आपको अतिरिक्त फिजिकल हार्डवेयर खरीदने की जरूरत नहीं है।
Cloud computing में server virtualization महत्वपूर्ण है क्योंकि यह लागत को कम करता है, रिसोर्सेज के उपयोग को बेहतर बनाता है और एक ही स्थान पर कई सर्वरों को रखकर उसे आसानी से मैनेज करता है।
Storage Virtualization
Storage virtualization कई physical storage devices को मिलाकर एक virtual storage system बना देता है। यह प्रत्येक device के विवरण को छुपा देता है और यूजर को केवल एक बड़ा space दिखाता है।
इसमें data को manage करना, storage को share करना आसान हो जाता है और यह जरूर के अनुसार बढ़ाया भी जा सकता है।
आपको हर डिवाइस को अलग-अलग संभालने की जरूरत नहीं है। यह समय बचाता है, जगह का सही उपयोग करता है और बैकअप को सुरक्षित रखता है।
यह बड़ी कंपनियों के लिए फायदेमंद है जहां पर बहुत सारे स्टोरेज को वर्चुलाइजेशन के बिना मैनेज करना कठिन है।
Network Virtualization
Network virtualization, फिजिकल नेटवर्क रिसोर्सेज को लेता है और उसे कई virtual networks मे बांट देता है। इस कार्य को करने के लिए सॉफ्टवेयर का उपयोग किया जाता है।
इस सॉफ्टवेयर की मदद से physical hardware को बिना बदले virtual routers, switches, और firewalls का बनाया जाता है।
यह नेटवर्क का बेहतर इस्तेमाल करता है और इसके प्रदर्शन को सुधारता है। यह बिना फिजिकल नेटवर्क उपकरणों को छुए, खास जरूरतों के लिए अलग-अलग नेटवर्क बनाने की क्षमता देता है।
Network virtualization सुरक्षा को भी improve करता है क्योंकि यह data traffic को विभिन्न virtual networks में बांटने मे मदद करता है। जब data नेटवर्क के माध्यम से जाता है तो उसे ज्यादा सुरक्षित बनाए रखता है।
Desktop Virtualization
Desktop virtualization का मतलब यूजर के desktop को उसके स्वयं के पर्सनल कंप्यूटर पर रखने के बजाय सर्वर पर रखा जाता है।
यह user को उसके desktop को कहीं से भी और किसी भी device से access करने की अनुमति देता है। इसमें software और files को server पर संग्रहीत किया जाता है न की user के device पर।
यह सॉफ्टवेयर को मैनेज करना आसान बनाता है क्योंकि प्रत्येक device को अलग से update करने की जरूरत नहीं होती सारे updates और बदलाव server में किए जाते हैं।
यह data को personal device पर न रखकर सर्वर पर रखता है। अतः data सुरक्षित बना रहता है और data के चोरी होने या खो जाने का खतरा भी कम होता है।
Application Virtualization
Application virtualization सॉफ़्टवेयर को एक central server पर चलने देता है। Users को इसे अपनी डिवाइस पर install किए बिना, नेटवर्क के माध्यम से इस्तेमाल कर सकते हैं।
इसका मतलब है कि user, application को किसी भी devices पर चला सकता है भले ही devices में ऑपरेटिंग सिस्टम अलग-अलग है।
software, central server पर हमेशा updated रहता है इसलिए user हर समय सॉफ्टवेयर का नवीनतम संस्करण प्राप्त करता है।
यह data को सुरक्षित बनाता है क्योंकि application सीधे user के डिवाइस पर नहीं चलता इससे data के hack हो जाने या खो जाने का जोखिम कम हो जाता है।
Data Virtualization
Data virtualization, विभिन्न sources जैसे databases, cloud storage, या अन्य systems से data का virtual view बनाता है।
यह users को data को हटाये या बदले बिना सभी sources से data को प्राप्त करने की अनुमति देता है।
यह समय बचाता है क्योंकि user को यह जानने की जरूरत नहीं है कि data कहां store किया जाता है।
Data virtualization, businesses को जल्दी से सूचना को प्राप्त करने और तेजी से निर्णय लेने में मदद करता है।
cloud computing, में data virtualization महत्वपूर्ण है क्योंकि यह विभिन्न स्थानों से data को मिलने और उसे मैनेज करने के कार्य को आसान बनाता है।
Storage virtualization
Storage virtualization का मतलब है कई physical storage devices को मिलाकर एक virtual storage बनाना। हर storage device को अलग-अलग मैनेज करने की बजाय, सारी storage एक साथ मिलकर एक ही unit की तरह दिखती है।
यह storage को मैनेज, उपयोग और विस्तारित करना आसान बनाता है।
यह space बचाने में मदद करता है और storage के लिए backup और recovery प्रदान करता है।
Storage virtualization, hard drives, SSDs, और cloud storage के साथ भी कार्य सकता है। Storage virtualization से स्टोरेज को आसानी से अलग-अलग server और application में share किया जा सकता है। इससे data को संभालना आसान और बेहतर हो जाता है।
Hardware Virtualization
Hardware virtualization कई operating system को एक ही physical machine में चलाने की सुविधा देता है।
यह hardware जैसे CPU, memory, और storage का वर्चुअल संस्करण बनाता है। प्रत्येक ऑपरेटिंग सिस्टम ऐसे चलता है जैसे वह अपने स्वयं के कंप्यूटर पर चल रहा हो, लेकिन वे सभी एक ही physical machine का उपयोग कर रहे होते हैं।
Hardware virtualization, physical resources का बेहतर उपयोग करने में मदद करता है क्योंकि कई virtual machines (VMs) एक ही physical server पर चलते है।
इस प्रकार के virtualization का उपयोग व्यापक रूप से cloud computing में होता है।
Pros of virtualization in cloud computing in Hindi
Cloud computing में virtualization के निम्न फायदे है।
1) यह पैसे बचाता है क्योंकि कम physical machines की जरूरत होती है।
2) यह कई virtual system को एक machine पर चलाने के द्वारा कंप्यूटर रिसोर्स का बेहतर उपयोग करता है।
3) जरूरत के आधार पर रिसोर्सेज को बढ़ाना या घटना आसान है।
4) नए systems या apps को जल्दी से set up किया जा सकता है।
5) यह आसानी से data का backup और recover करता है जिससे data सुरक्षित रहता है।
6) यह विभिन्न systems को अलग अलग रखता है जिससे उसकी सुरक्षा और भी अच्छी हो जाती है।
7) सब कुछ को एक ही स्थान से मैनेज करना सरल है।
8) यह कम electricity का उपयोग करता है।
Cons of virtualization in cloud computing in Hindi
Cloud computing में virtualization के निम्न नुकसान है।
1) Virtual machines, वास्तविक कंप्यूटरो की तुलना में धीमा हो सकता है।
2) अगर एक virtual machine हैक हो जाए, तो उसी सिस्टम में दूसरी virtual machines के लिए भी खतरा हो सकता है।
3) वर्चुअलाइजेशन के लिए शुरूआत में महंगे हार्डवेयर और सॉफ्टवेयर की जरूरत पड़ती है।
4) एक ही समय में कई virtual machines को manage करना कठिन हो सकता है।
5) प्रत्येक virtual machine को सीमित memory और CPU मिलता है जो पर्याप्त नहीं हो सकता।
6) यदि मुख्य सिस्टम कार्य करना बंद कर दे तो सभी virtual machines भी बंद हो जाती है।
7) कुछ software, virtual machines में अच्छे से कार्य नहीं करता।
8) Virtual machine के नियम समझना मुश्किल हो सकता है और इसमें ज्यादा पैसा लग सकता है।
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